प्रदेश कांग्रेस ने भाजपा पर आरोप लगाया है कि वह बढ़ती महंगाई व बेरोजगारी के प्रति कतई गंभीर नही है।
प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता नरेश चौहान ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि आज जिस प्रकार से डीजल,पेट्रोल एलपीजी सिलेंडर के दामों में वृद्धि हो रही है उससे आम व गरीब लोगों के जीवन में व्यापक असर पड़ रहा है। सरकार के पास इसे रोकने के न तो कोई उपाय ही है और न ही कोई नीति है।
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा के प्रदेश के दौरे पर आयोजित कार्यक्रम पर सवाल उठाते हुए नरेश चौहान ने भाजपा से जानना चाहा कि वह बताए कि वह करोड़ो खर्च कर यह कैसा उत्सव मना रहे है। उन्होंने प्रदेश सरकार पर सरकारी मशनरी के दुरुपयोग करने व सरकारी धन को फिजूलखर्च करने का आरोप लगाते हुए कहा कि नड्डा का बढ़ती महंगाई पर कोई बात न करने से साफ है की उन्हें लोगों की समस्याओं से कोई लेनादेना नही है। उन्होंने कहा कि आज खाने की वस्तुओं सब्जियों, यहां तक कि नींबू के भाव जिस प्रकार से बढ़ रहे है, वह सब अब आम लोगों की पहुंच से बाहर होता जा रहा है।यूपीए के समय महंगाई पर घड़याली आंसू बहाने वाले भाजपा नेताओं को आज यह महंगाई नजर नही आ रही।
नरेश चौहान ने देश प्रदेश में बढ़ती महंगाई की दर पर सवाल उठाते हुए कहा कि आज पांच राज्यों के चुनावों के बाद एकाएक 40 से 50 प्रतिशत महंगाई बढ़ी है।यहां तक कि जीवन रक्षक दवाओं के मूल्यों में भी बढ़ोतरी हुई है।
चौहान ने सरकार से बढ़ती महंगाई से राहत देने की मांग करते हुए कहा है कि देश व प्रदेश के लोगों को इस समस्या से निजात दिलाने के लिए सरकार को कोई प्रभावी कदम उठाने की जरूरत है जिसे वह नही उठा रही है। चौहान ने कहा कि चुनाव सामने देख अब प्रदेश में मुख्यमंत्री लोगों को घोषणाओं से लुभाने का असफल प्रयास कर रहे है।
शिमला में पेयजल संकट पर सरकार को घेरा
नरेश चौहान ने शिमला नगर में बढ़ती पेयजल समस्या पर जयराम सरकार को आड़े हाथ लेते हुए कहा है कि उन्होंने पेयजल कंपनी को लोगों को लूटने की खुली छूट दे रखी है।उन्होंने कहा कि पिछले 25 दिनों से नगर में पेयजल संकट चल रहा है और मुख्यमंत्री ने अजदिन तक इस बारे कोई बैठक तक नही की।उन्होंने कहा कि सरकार लोगों की समस्याओं को लेकर गंभीर नही है। अफसरशाही निरंकुश है।उन्होंने इस बात पर बड़ी हैरानी जताई कि पेयजल योजना का एक ट्रांसफार्मर 20 दिन तक खराब रहने के बाबजूद बदला नही जाता जिस बजह से पेयजलापूर्ति प्रभावित हुई। उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के शासनकाल के दौरान ऐसी ही एक समस्या पेयजल आपूर्ति को लेकर आई थी उस समय वीरभद्र सिंह ने अधिकारियों की एक बैठक बुला कर समस्या को 24 घण्टों के भीतर दूर करने को कहा था। उन्होंने कहा कि आज मुख्यमंत्री जयराम की कोई नही सुनता।उन्होंने कहा कि आज सरकार की कार्यशैली बहुत ही कमजोर हुई है। जयराम बहुत ही कमजोर मुख्यमंत्री साबित हुए है।